भारत बंद के आहवान के कारण सिडकुल में थमे रहे व्यवायिक वाहनों के पहिये

हरिद्वार। बहुजन क्रांति मोर्चा सहित विभिन्न संगठनों के द्वारा सीएए तथा एनआरसी के विरोध में आहूत भारत बंद का असर सिडकुल औद्योगिक क्षेत्र में देखने को मिला है। बंद का ट्रांसपोर्टरों ने भी समर्थन किया है। बंद के कारण सिडकुल में व्यवसायिक वाहनों के पहिये जाम रहे। बंद के कारण बुधवार को ट्रांसपोर्टरों ने कंपनियों से गाड़िया तो लोड की लेकिन उन्हें पार्किंग अथवा खाली स्थान पर खड़ा कर दिया। नागरिकता संशोधन कानून और राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर के विरोध में ट्रांसपोर्टरों ने अपने कार्यकाल भी बंद रखे। जो गाड़िया मंगलवार सुबह लोड होने के बाद बाहर भेजी गई है। उन्हें भीड़ में घुसने से पहले एतिहात बरतने को कहा गया है। बहुजन क्रांति मोर्चा एवं कई संगठनों के आह्वान पर बुधवार को सीएए एवं एनआरसी के विरोध में भारत बंद का ऐलान किया गया था। ट्रांसपोर्टरों ने भारत बंद का पूरा समर्थन किया और सिडकुल से बहादराबाद व सलेमपुर तक सैकड़ों ट्रांसपोर्टरों ने अपने कार्यकाल बंद रखे। सलेमपुर में स्थानीय लोगों ने रैलियां निकाल कर प्रतिष्ठान बंद करा दिए। हालांकि कुछ देर बाद ही बाजार खुल गए थे। अब बुधवार रात या गुरुवार सुबह ही ट्रांसपोर्टर अपने वाहनों को बाहरी राज्यों के लिए निकालेंगे। ऑल ओवर ट्रांसपोर्ट वेलफेयर एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष कुंवर राव अखलाक ने कहा कि बहुजन क्रांति मोर्चा के आवाहन पर भारत बंद को सफल बनाने के लिए प्रदेश के लगभग छह हजार से अधिक वाहनों का बाहरी राज्यों में आवागमन बंद रखा। उन्होंने कहा कि पिछले माह से नागरिकता कानून और एनआरसी के खिलाफ कई संगठन विरोध कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि सरकार राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर की बजाए युवाओं को रोजगार उपलब्ध कराएं एवं शिक्षकों का रजिस्टर तैयार करें। उन्होंने कहा कि युवाओं को आज रोजगार की जरूरत है। जिनके पास रोजगार थे उनके रोजगार भी लगभग खत्म हो चुके हैं। इसी कारण वह भी उस विरोध में शामिल है। ऑल ओवर ट्रांसपोर्ट वेलफेयर एसोसिएशन के जिलाध्यक्ष मुस्तफा ने कहा कि सीएए और एनआरसी व एनआरपी से आज देश का आर्थिक दीवालिया निकलने की राह पर है। दूसरी ओर पुलिस प्रशासन द्वारा बंद के मददे्नजर पूरी तरह से सर्तकता बरतते हुए लगातार नजरे रखी गयी।