नाबालिग के साथ दुष्कर्म के आरोपी को मिली दस साल कठोर कैद की सजा

 हरिद्वार। नाबालिग लड़की से दुष्कर्म कर गर्भवती करने और लैंगिक हमला करने के मामले में अपर जिला जज,फास्ट ट्रैक विशेष कोर्ट न्यायाधीश पारुल गैरोला ने आरोपी युवक को दोषी करार दिया है। विशेष कोर्ट ने दोषी को 10 वर्ष की कठोर कैद और 50 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई है। दोषी ने बालिग होने पर लड़की को पत्नी के तौर अपना लिया था। शासकीय अधिवक्ता भूपेंद्र कुमार चैहान ने बताया कि जनवरी 2017 में कोतवाली लक्सर क्षेत्र के गांव निवासी युवक पर अपने परिजनों के साथ षड्यंत्र कर नाबालिग लड़की से कई बार दुष्कर्म करने का आरोप था। दुष्कर्म से पीड़ित लड़की गर्भवती हो गई थी। पीड़िता के परिजनों ने पुलिस में दी गई शिकायत पर कार्रवाई नहीं होने पर कोर्ट में प्रार्थना पत्र दिया था। पीड़िता की मां ने बताया था कि दोषी की बहन सरोज उसके साथ प्राइवेट कम्पनी में काम करती थी। जहां आपस में मेलजोल होने पर सरोज उसकी नाबालिग लड़की को अपने घर ले गई थी। इसके बाद आरोपी टीटू ने अपनी बहन सरोज व अन्य के साथ षडयंत्र रचकर डरा धमकाकर और किसी को बताने पर जान से मारने की धमकी देकर उससे कई बार दुष्कर्म किया। जब कभी पीड़िता की मां उसे लेने के लिए आरोपी महिला के घर पर गई तो वह बहाना बनाकर उसे वापस भेज दिया था। दुष्कर्म के बाद नाबालिग गर्भवती हो गई थी और उसने एक बच्चे को जन्म दिया। इसके बाद आरोपी और उसके परिजन नाबालिग लड़की को बच्चे के साथ उसके घर छोड़ गए थे।