कन्या गुरुकुल देहरादून के छात्राएं एवं शिक्षिकाओं ने किया गुकाविवि का भ्रमण
हरिद्वार। कन्या गुरुकुल देहरादून से योग विभाग की छात्राएं और शिक्षिकाओं ने योग-यात्रा पर शक्रवार को गुरुकुल कांगड़ी विश्वविद्यालय का भ्रमण किया। उन्होंने वेदों में योग विद्या को जानने के लिये गुरुकुल कांगडी विश्वविद्यालय का भ्रमण करते हुए गुरुकुल के संस्थापक के नाम से स्थापित श्रद्धानन्द वैदिक शोध संस्थान को भी देखा। विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. रूप किशोर शास्त्री ने कहा योग एक प्राचीन भारतीय प्रथा है। जो शारीरिक मुद्राओं, श्वसन विधियों और ध्यान को जोड़ती है। नियमित योगाभ्यास हमारे समग्र स्वास्थ्य, शक्ति को बढ़ाता है और हमारे मन को शांत करने में मदद करता है। आधुनिक समय में महिलाएं अपने करियर और परिवार दोनों की जिम्मेदारी उठा रही हैं। इसलिए जीवन के सभी पहलुओं को संतुलित करने में सक्षम होने के लिए और अपने उपर कार्य का अधिक बोझ होने पर भी शांत रहने के लिए योगाभ्यास आवश्यक हो जाता है। कन्या गुरुकुल की कोओर्डिनेटर प्रो. श्यामलता जुयाल ने कहा कि योग किसी के शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को बनाए रखने में मदद करता है। जो महिलाओं के लिए एक महत्वपूर्ण कारक है। कॉर्पोरेट जीवन, काम के लंबे घंटे और अपने परिवार की देखरेख का अतिरिक्त दबाव महिलाओं के भावनात्मक स्वास्थ्य, फिटनेस के स्तर और नींद के चक्र को गंभीर रूप से प्रभावित कर सकता है।संस्थान के अध्यक्ष प्रो. सत्यदेव निगमालंकार ने वेद विषय पर किये जा रहे भावी कार्यों को समझाया और शोधकार्य करने की दिशा पर भी प्रकाश डाला। कन्या गुरुकुल देहरादून की योग विभाग की असिस्टेंट प्रोफेसर डा. संयोगिता ने संस्थान में हो रहे शोध कार्यों को बहुत सराहा। इस अवसर पर दीपिका आर्या, नीलाक्षी, स्नोवी, तनीषा, अंकिता, मुस्कान, मनिता, अंजलि, भावना निषाद, डोली, पूर्णिमा, रजनी, पूजा आदि उपस्थित रहे।