तीज त्यौहार हमारी संस्कृति की विरासत है,जिन्हें सहेजकर रखना हम सबकी जिम्मेदारी
हरिद्वार। इन्टरनेशनल गुडविल सोसायटी ऑफ इंडिया हरिद्वार चेप्टर द्वारा हरियाली तीज पर वर्चुअल बैठक का आयोजन किया गया। वर्चुअल बैठक में विभिन्न राज्यों की महिला पदाधिकारियों ने प्रतिभाग किया।सोसायटी के पदाधिकारियों ने सर्वप्रथम नव निर्वाचित राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मु को बधाई व शुभकामनाए दी। बैठक का संचालन रेखा नेगी ने किया। इस अवसर पर नेहा मलिक ने कहा कि तीज त्यौहार हमारी संस्कृति की विरासत है,जिन्हें सहेजकर रखना हम सबकी जिम्मेदारी है। त्यौहार हमारी संस्कृति का मजबूत आधार है। तीज त्यौहार महिला सशक्तिकरण को भी बढ़ावा देते हैं। इस अवसर पर अंजली माहेश्वरी ने कहा कि एक कहावत है कि.‘आई तीज, बिखेर गई बीज’ अर्थात अप्रैल माह में शुरू होने वाले हमारे हिंदू कैलेंडर में तीज का त्यौहार वर्ष का सबसे पहला त्यौहार होता है। इसके बाद से त्योहारों का सीजन शुरू हो जाता है।जैसे इसके दस दिन बाद रक्षाबंधन,फिर जन्माष्टिमी, करवे, नवरात्र, दशहरा ,दीवाली इत्यादि महत्वपूर्ण पर्व हैं। कमला जोशी ने कहा कि देश के समूचित संर्वधन में महिलाओं का विशेष योगदान है। देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ अभियान चलाकर देश को नई दिशा देने का काम किया है। बैठक का संचालन करते हुए रेखा नेगी ने कहा कि सभी त्यौहार हमारी सभ्यता और संस्कृति तथा सामाजिक मूल्यों को सहेजने और संजोए रखने का काम करते हैं। प्राचीन काल से ही हमारे ऋषि-मुनियों ने मानव जीवन को खुशियों से भरने के लिए पर्व मनाने का विधान किया। इन सभी पर्वों में मनुष्य की प्रकृति और पर्यावरण की अनुकूलता को भी ध्यान में रखा गया है। इस अवसर पर पुष्पलता गोस्वामी ने कहा कि हमारे जीवन में त्योहारों का विशेष महत्व है। वर्षभर में एक नियत समय पर आने वाले विभिन्न त्योहार जीवन में नवरस भर देते हैं। तीज उन्हीं त्योहारों में से एक ऐसा महत्वपूर्ण त्यौहार है,जिससे महिलाएं ही नहीं बल्कि पुरुषों के चेहरे भी खिल जाते हैं। इस अवसर पर सोसायटी के अध्यक्ष ई मधुसूदन अग्रवाल ने कहा कि मनुष्य स्वभाव से ही प्रकृति प्रेमी है। आसमान पर बादल, बारिश की फुहार में हरियाली तीज पर्व मनाया। उन्होने कहा कि त्योहार और सार्वजनिक उत्सवों की विवेचना में हमारा लक्ष्य यही है कि अपने पूर्व पुरूषों के अनुकरणीय और उज्ज्वल सत्कार्यों की स्मृति को कायम रखते हुए, हम उनको इस प्रकार मनावें जिससे वे हमारे लिए ही नहीं,मनुष्य मात्र के लिए कल्याणकारी सिद्ध हों। हमें उनको ऐसे समयानुकूल ढंग से मानना चाहिए जिससे वे हमारी किसी आवश्यकता की पूर्ति करें और त्रुटियों को दूर करें।इस अवसर पर पूनम गुप्ता,कमला अग्रवाल,सत्यवती अग्रवाल, नीलम रावत,प्रीति जोशी,नूपुर पाल,राजलक्ष्मी जैन,सपना बंसल,डॉपंकज कौशिक,हेमंत सिंह नेगी, मीनू अग्रवाल,भर्ती सिंह,शोभा शर्मा,सविता गुप्ता,उषा शर्मा,नीना अग्रवाल,ज्योति रस्तोगी,इरा गुप्ता, ममता गुप्ता,अन्नपूर्णा बंधुनी,मनीषा दीक्षित,विमल कुमार गर्ग,राजीव राय, जितेंद्र कुमार शर्मा,डॉ अतर सिंह, अंकुर गोयल,प्रमोद शर्मा आदि सम्मिलित हुये।