हरिद्वार। गंगा की स्वच्छता,अविरलता सहित अन्य मुदद्ों को लेकर शुक्रवार को समाज सेवी एवं जिला गंगा संरक्षण समिति के सदस्य रामेश्वर गौड़ ने सिटी मजिस्ट्रेट कार्यालय पर धरना दिया। धरना देते हुए रामेश्वर गौड़ ने आरोप लगाया कि गंगा स्वच्छता को लेकर जिला प्रशासन कुछ नहीं कर पा रहा है जबकि बैठकों में तमाम मुद्दे उठाने के बावजूद कोई भी अधिकारी कार्यवाही करने को तैयार नहीं है। दावों के बावजूद आज भी गंगा में गिर रहे नालों पर कोई कार्रवाई न होने, नगर निगम द्वारा घाटों पर बोर्ड लगाए जाने थे,सिंचाई विभाग द्वारा समाधि स्थल घाटों पर प्रतिबंधित बोर्ड लगाए जाने थे। वह 7माह बाद भी आज तक नहीं लग पाए हैं। विश्व विख्यात हर की पौड़ी पर प्रतिबंधित होने के बावजूद भी प्लास्टिक,पॉलिथीन बंद न होने को लेकर एवं अतिक्रमण हटाने को लेकर व सभी पुलों पर जाली लगनी थी 3वर्षों से अभी तक सभी पुलों पर नही लग पाई है एवं कावड़ मेले में आने वाले करोड़ शिव भक्त गंगा में सीवरयुक्त जल को लेकर भगवान पर चढ़ाएंगे। उत्तराखंड प्रदूषण नियंत्रण गौरा देवी पर्यावरण भवन देहरादून द्वारा एक जांच रिपोर्ट के अनुसार यहां के सभी एस.टी.पी फेल की रिपोर्ट आई है एवं रिपोर्ट में यह भी साफ-साफ लिखा है कि सीवर के पानी का शोधन नहीं कर पा रहे हैं एवं सभी एसटीपी ओवरफ्लो कर रहे हैं। जिसका कावड मेले में आने वाले करोड़ों श्रद्धालुओं की आस्था का खिलवाड़ हो रहा है। इसको लेकर ना तो सरकार ही कोई ध्यान दे रही है ना यहां का जिला प्रशासन ध्यान दे रहा है। अधिकारी अपनी मनमानी कर रहे हैं। एस.टी.पी बनने के बाद ट्रायल के दौरान से ही ओवरफ्लो कर रहे हैं। सरकार के हजारों करोड़ों रुपए के ठिकाने लगा चुके हैं। ऐसे अधिकारियों के खिलाफ कार्यवाही कराने को लेकर मुझे धरने पर बैठना पड़ रहा है। जब तक जिला प्रशासन एवं संबंधित अधिकारी इसका जवाब नहीं देंगे एवं ऐसे भ्रष्टाचारियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं करेंगे,मां गंगा की स्वच्छता को लेकर आंदोलन करता रहूंगा।
गंगा स्वच्छता के नाम पर भष्टाचार में लिप्त अधिकारियों के खिलाफ कारवाई की मांग को लेकर दिया धरना