अध्यात्म और आर्थिक समृद्धि का आधार है दीपावली-मुखिया महंत दुर्गादास

 सनातन धर्म का सबसे बड़ा पर्व है दीपावली-श्रीमहंत रविंद्रपुरी


हरिद्वार। कनखल स्थित श्रीपंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन में संत महापुरूषों के सानिध्य में दीपावली का पर्व धूमधाम से मनाया गया। इस दौरान संतों ने भगवान श्रीचंद्र मंदिर में दीप प्रज्वलित किए और पूजा अर्चना कर सभी देशवासियों को दीपावली की बधाई दी। अखाड़ा परिषद एवं मनसा देवी मंदिर ट्रस्ट के अध्यक्ष श्रीमहंत रविंद्रपुरी महाराज ने कहा कि दीपावली सनातन धर्म का सबसे बड़ा पर्व है। चौदह वर्ष के वनवास के पश्चात भगवान श्रीराम के अयोध्या र्लौटने पर अयोध्यावासियों ने दीप जलाकर उनका स्वागत किया था। श्रीमहंत रविंद्रपुरी महाराज ने कहा कि पांच सौ वर्ष की प्रतीक्षा के बाद भगवान श्रीराम अयोध्या में भव्य मंदिर में विराजमान हुए हैं। इसलिए यह दीपावली प्रत्येक सनातनी के लिए बेहद खास है। इसलिए सभी पूरी भव्यता व दिव्यता से दीपावली मनाएं। श्रीपंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन के मुखिया मंहत दुर्गादास महाराज एवं महंत अद्वैतानंद महाराज ने सभी को दीपावली की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि रोशनी और खुशीयों का पर्व दीपावली अध्यात्म और आर्थिक समृद्धि का आधार है। दीपावली संदेश देती है कि अपने भीतर के अंधकार को दूर सकारात्कता का प्रकाश कर जीवन में आगे बढ़ें। इस अवसर पर कोठारी महंत राघवेंद्र दास, कारोबारी महंत गोविंददास,महंत जयेंद्र मुनि, महंत प्रेमदास,महंत सूर्यांश मुनि,महंत मुरलीदास, महंत सेवादास,महंत कैवल्यानंद,महंत निरंजन दास सहित कई संत महंत मौजूद रहे।