हरिद्वार। इएमए द्वारा बालाजी इंस्टीट्यूट ऑफ अल्टरनेटिव मेडिकल साइंस एंड रिसर्च सेंटर अलीपुर बहादराबाद में विश्व मधुमेह दिवस के अवसर पर मधुमेह रोग के प्रति जागरूकता संगोष्ठी का आयोजन किया गया। संगोष्ठी का शुभारंभ भारतीय जनता पार्टी चिकित्सा प्रकोष्ठ के पूर्व प्रदेश संयोजक इएमए के राष्ट्रीय अध्यक्ष डा.केपीएस चौहान ने किया। डा.चौहान ने कहा कि मधुमेह रोग से ग्रसित व्यक्ति के तीन अंगो लीवर,इंटेस्टाइन, पेंक्रियाज के सामान्य रुप से कार्य न करने के कारण रक्त में शुगर की मात्रा सामान्य से अधिक हो जाती है। विदेशों में 120/80सामान्य स्तर निर्धारित है। लेकिन भारत में यह स्तर अधिक 140/100पाया जाता है और भारत के लोग अपने आप को मधुमेह रोगी समझने लगते है। इसका कारण है भारत के लोगो का खान पान। व्यक्ति को अपने तीनों अंगों का ध्यान रखना चाहिए। मानसिक तनाव ,चिंता भी मधुमेह होने का एक सहायक कारण है। यह अनुवांशिक भी होता है और इलेक्ट्रोहोमियोपैथी औषधि अनुवांशिक मधुमेह के क्रम को भी ठीक करती है। व्यक्ति को सादा खाना,स्वच्छ एवं शांत विचार तथा सामान्य व्यायाम को अपनी जीवन शैली बनाना चाहिए। कार्यक्रम मे डा.ऋचा आर्य,डा.हिना कुशवाहा,डा.लक्ष्मी,डा.बी.बी.कुमार,डा.अमर पाल अग्रवाल,डा.आदेश शर्मा,डा.सुनील कुमार अग्रवाल,डा.अशोक कुशवाहा ने भी मधुमेह रोग से बचाव एवं जागरूकता पर विचार व्यक्त किए।